कुरूवा द्वीप की भौगोलिक विशिष्टता इस जगह को एक शांत वातावरण के साथ सदाबहार बनाती है। यह द्वीप एक संरक्षित नदी डेल्टा है इसमें वायनाड जिले में काबीनी नदी के बीच में दीपों का एक समूह है। कुरूवा द्वीप 950 एकड़ में फैला है जो काफी बड़ा द्वीप है। कुरुवा द्वीप समुद्र वनस्पतियों और जीवों का आबादी वालाबी द्वीप है।
कुरूवा द्वीप प्रकृति के काफी करीब है। जिसे हम प्रकृति का उपहार समझकर महसूस करते हैं। यहां पर हमको बास के पेड़ों और अलग-अलग प्रजातियों के पेड़ों से बने पुल, निर्जन द्वीप पक्षियों, आर्किड हर्बल पौधों, और काफी दुर्लभ प्रजातियों के पेड़ों का घर है। कुरूवा द्वीप की गहराई में आप काफी चीजों को महसूस कर सकते हैं।
कुरुवा द्वीप पर हम नाव की सवारी या राफ्टिंग कर सकते हैं। दुनिया के अलग-अलग देशों से पर्यटक कुरुवा द्वीप देखने के लिए और राफ्टिंग करने के लिए आते हैं। राफ्टिंग के राफ्ट बांस से बने होते हैं जो हमको धाराओं के माध्यम से रोमांचक यात्रा प्रदान करते हैं। द्वीप धाराओं से घिरा होने के कारण आप राफ्टिंग करते हुए पूरे द्वीप की मनमोहक सुंदरता का आनंद ले सकते हैं।
कुरूवा द्वीप में हमको नाव हो या राफ्ट केरल पर्यटन विभाग द्वारा प्रदान किया जाता है। कुरुवा द्वीप पर पार्टी मनाना या फिर कुछ भी हरकतें करना प्रतिबंधित है। यहां पर हम शांत और आलसी प्रकृति की सैर कर सकते हैं और हम प्रकृति की सुंदरता का भी आनंद ले सकते हैं।
कुरूवा द्वीप वायनाड – केरला
कुरूवा द्वीप कैसे पहुंचे ?
कुरूवा द्वीप पहुंचने के लिए हमें केरल राज्य के वायनाड जिले के अंदर मनात वाडी पहुंचकर वहां से बस सेवा है जिसके जरिए हम कुरूवाद्वीप पहुंच सकते हैं।